MP सरकार का नया आदेश बच्चों के साथ परिजनों को भी पढ़ायेगी सरकार
प्रदेश की साक्षरता (MP School Education) दर को और आगे बढ़ाने और मजबूत करने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है
MP School Education:मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव (CM Dr. Mohan Yadav) की सरकार ने एक बार फिर से सबको चौंका दिया है क्योंकि मध्य प्रदेश सरकार ने निजी स्कूलों को एक ऐसा आदेश सुनाया है जिससे प्रदेश की साक्षरता दर भी आगे बढ़ेगी और वही इन स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चों के साथ उनके नाना नानी और दादा-दादी भी पढ़ाई कर पाएंगे और प्रदेश सरकार के इस निर्णय से कई निजी स्कूलों के सर पर बहुत भार पड़ा है
मध्य प्रदेश में शिक्षा के क्षेत्र में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया गया है क्योंकि राज्य शिक्षा केंद्र (State Education Center) ने प्रदेश की साक्षरता दर को और आगे बढ़ाने और मजबूत करने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है ।
जिसमें प्राइवेट स्कूलों (MP School Education:) के पढ़ने वाले बच्चों के साथ-साथ उनके माता-पिता,चाचा-चाची,दादा-दादी,नाना-नानी आदि अन्य परिजनों को भी शिक्षा दी जाएगी ।
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इस योजना को शुरू करने का यह उद्देश्य है कि इस योजना के माध्यम से राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 (National Education Policy 2020) के तहत 15 साल से अधिक आयु वाले बच्चों युवाओं और बुजुर्गों को नव साक्षर बनाया जाएगा इस पहल को उल्लास ना भारत साक्षरता कार्यक्रम के नाम से जाना जाएगा ।
क्या हें यह योजना जानिये
राज्य शिक्षा केंद्र (State Education Center) द्वारा जारी आदेश में यह स्पष्ट रूप से कह दिया गया है कि प्राइवेट स्कूलों को अपने आसपास के किसी एक गांव बार्ड या मोहल्ले को साक्षर बनाने के लिए गोद लेना होगा । और इस प्रक्रिया में निजी स्कूल कार्य योजना बनाकर काम करेंगे और इसके लिए प्रत्येक निजी स्कूलों में एक शिक्षक को नोडल बनाया जाएगा ।
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और जैसे साक्षरता कार्यक्रम की प्रस्तुतीकरण के साथ पारदर्शी संचालन के लिए बनाए गए NILP MP ऐप और rskmp.in पोर्टल के विषय में प्रशिक्षण दिया जाएगा और इसके बाद नोडल शिक्षक अपने स्कूल के शिक्षकों और छठवीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों को प्रशिक्षित करेंगे ।
प्राइवेट स्कूलों की भूमिका महत्वपूर्ण होगी
इस योजना के माध्यम से शिक्षा का अधिकार आरटीई (Right to Education) के तहत प्रवेश देने वाले प्राइवेट स्कूलों की भूमिका महत्वपूर्ण होगी और इन स्कूलों की यह जिम्मेदारी होगी कि वह अपने आसपास के क्षेत्र को साक्षर बनाने में सहयोग करें और इसके लिए स्कूलों में नोडल शिक्षा नियुक्त किए जाएंगे और यह असाक्षर लोगों की पहचान उन्हें शिक्षा देने और उन्हें साक्षर बनाने तक की पूरी प्रक्रिया को पूरा करेंगे ।
योजना का फायदा
मध्य प्रदेश का यह नवाचार साक्षरता (MP School Education) दर को आगे बढ़ाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा और यह योजना की पहल न सिर्फ बच्चों को बल्कि उनके परिवार की बुजुर्ग सदस्यों को भी शिक्षा की रोशनी से जुड़ने का प्रयास करेगी और इस पहल से समाज के हर वर्ग को शिक्षा का लाभ प्राप्त होगा और साक्षरता का प्रसार व्यापक रूप से होगा ।
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इस योजना (MP School Education) से शिक्षा का महत्व और उसकी आवश्यकता को समझने में लोगों को बहुत ज्यादा मदद मिलेगी और यह समाज के सभी वर्ग के लोगों को जागरूकता फैलाने में भी मदद करेगा और शिक्षा के इतना योग में मध्य प्रदेश में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है ।
इस कदम से न सिर्फ साक्षरता दर को आगे बढ़ाया जाएगा बल्कि समाज में शिक्षा का व्यापक प्रसार भी होगा और यह योजना अन्य राज्यों के लिए एक प्रेरणा का स्रोत बनेगी जिस देश की साक्षरता दर में वृद्धि की जाएगी और समाज में हर वर्ग को शिक्षा की मुख्य धारा में जोड़ा जाएगा जिससे यह मदद करेगा ।
साक्षरता रथ कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा
साक्षरता अभियान के प्रचार प्रसार के लिए सार्वजनिक स्थानों पर नारे और फ्लेक्स लगवा जाएंगे इसके अतिरिक्त स्थानीय जनप्रतिनिधियों के माध्यम से ग्राम पंचायत और विकासखंड स्तर पर भी साक्षरता रथ कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा ।
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यह कार्यक्रम लोगों को इस योजना से जोड़ने के लिए जागरूक करने में मदद करेगा इसके अतिरिक्त स्कूल और सामाजिक स्तर पर सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन भी किया जाएगा जिसमें साक्षरता के विषय और गीत और प्रतियोगिता का आयोजन भी किया जाएगा जिससे कि लोगों को इसके बारे में अधिक से अधिक जानकारी प्राप्त हो ।
असाक्षरों का सर्वे करेंगे
साल 2011 की जनगणना के अनुसार स असाक्षरों का सर्वे ऑफलाइन और NILP MP ऐप के माध्यम से ऑनलाइन मोड में किया जाएगा ।
इसमें सभी प्राइवेट और सरकारी स्कूल कार्य योजना बनाक असाक्षरों का सर्वे करेंगे और कक्षाओं का संचालन भी करेंगे और गोद लिए गए क्षेत्र के असाक्षर लोगों के लिए स्कूलों में सामाजिक चेतना केंद्र का नियमित शुरु किया जाएगा ।
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उल्लास अक्षर पोथी प्रवेशिका के माध्यम से पठन-पाठन करते हुए उसे स्थान को पूर्णता साक्षर बनाया जाएगा और इस प्रक्रिया में शिक्षा का प्रसार और प्रचार बहुत ही अच्छे तरीके से किया जाएगा ।
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